लखनऊ 2 जनवरी 2023: चिकित्सा शिक्षा विभाग ने प्राइवेट नर्सिंग एवं पैरा मेडिकल कॉलेज संचालकों पर दरियादिली प्रकट की है। प्राइवेट कॉलेजों की रिक्त सीटें भरने के लिए अब प्रवेश परीक्षा बिना प्रवेश की इजाजत दी गयी है ।यही स्थिति पैरामेडिकल कोर्स में भी है। इंटर (विज्ञान) में 60 % नंबर प्राप्त करने वाले छात्र किसी भी ग्रेजुएशन स्तर के पैरामेडिकल कोर्स में प्रवेश पा सकेंगे।
प्रदेश में बीएससी नर्सिंग, पोस्ट बेसिक नर्सिंग एवं एमएससी नर्सिंग में प्रवेश हेतु प्रवेश परीक्षा हुई। मेरिट के अनुसार प्रवेश की कार्यवाही प्रारंभ हुई पहले एवं दूसरे दौर की काउंसिलिंग में सरकारी क्षेत्र की सीटें फुल हो गयीं। परन्तु, प्राइवेट क्षेत्र की एमएससी नर्सिंग की 90 % एवं पोस्ट बेसिक बीएससी की लगभग 67% सीटें रिक्त रह गईं। इसी प्रकार ग्रेजुएशन स्तर की पैरामेडिकल कोर्स की भी प्राइवेट क्षेत्र की काफी सीटें रिक्त रह गई हैं।
इसलिए प्राइवेट कॉलेजों को सुविधा उपलब्ध कराते हुए मेरिट के बिना प्रवेश का आदेश दिया गया है। इस संबंध में चिकित्सा शिक्षा विभाग के प्रमुख सचिव आलोक कुमार ने महानिदेशक चिकित्सा शिक्षा एवं प्रशिक्षण और अटल बिहारी वाजपेयी चिकित्सा विश्वविधालय के कुलपति को आदेश दिया है। इसमें बताया गया है कि, जीएनएम परीक्षा में 60 % नंबर प्राप्त करने वालों को पोस्ट बेसिक बीएससी नर्सिंग में प्रवेश दिया जा सकता है। इसी प्रकार बीएससी नर्सिंग में 60 % नंबर प्राप्त करने वाले और किसी भी विषय में फेल न होने वालों को सीधे एमएससी नर्सिंग में प्रवेश दिया जायेगा। ग्रेजुएशन स्तर के पैरामेडिकल कोर्स में वे छात्र सीधे प्रवेश पा सकते हैं, जिन्होंने इंटरमीडिएट में 60% नंबर प्राप्त किये हों।
उत्तर प्रदेश प्राइवेट नर्सिंग एवं पैरामेडिकल कॉलेज एसोसिएशन के सदस्यों ने प्रवेश परीक्षा के बिना प्रवेश की इजाजत देने पर विभाग के प्रति आभार व्यक्त किया है एवं मांग की है कि एमएससी के समान बीएससी नर्सिंग में भी बिना प्रवेश परीक्षा के बिना प्रवेश की इजाजत दी जाए। क्योंकि बीएससी नर्सिंग में प्राइवेट क्षेत्र में 50 % से अधिक सीटें रिक्त हैं।